ITBP अकादमी में भव्य दीक्षांत परेड के बाद 55 चिकित्साधिकारी हिमवीरों की मुख्यधारा में शामिल।

मसूरी : भारत तिब्बत सीमा पुलिस बलस अकादमी (ITBP) परेड ग्राउंड में आयोजित भव्य दीक्षांत परेड व शपथ लेने के बाद 55 चिकित्साधिकारी छह माह के कठिन प्रशिक्षण के बाद बल की मुख्यधारा हिमवीरों के शामिल हो गये। इस मौके पर बतौर मुख्य अतिथि अपर महानिदेशक मनोज सिंह रावत ने परेड की सलामी ली।
आईटीबीपी अकादमी परेड ग्राउंड में आयोजित दीक्षांत समारोह में 55 सहायक सेनानी चिकित्साधिकारियों के परेड का मुख्य अतिथि अपर महानिदेशक मनोज सिंह रावत ने निरीक्षण किया। इसके बाद बल व राष्ट्रीय ध्वज के समक्ष सभी नवसैन्य अधिकारियों को बल के प्रति निष्ठा एवं समर्पण की शपथ सेनानी प्रशासन सोबन सिंह राणा ने दिलाई। इसके पश्चात बल की मुख्यधारा में शामिल चिकित्साधिकारियों ने बल के ब्रासबैंड के साथ भव्य परेड का आयोजन किया जिसकी सलामी मुख्यअतिथि ने ली। दीक्षांत समारोह में आईटीबीपी अकादमी के निदेशक व महानिरीक्षक पीएस डंगवाल ने मुख्य अतिथि सहित अतिथियों का स्वागत किया व कहा कि बल की मुख्य धारा हिमवीरों में शामिल अधिकारियों को कठोर एवं लंबे प्रशिक्षण के दौरान युद्ध कौशल, शस़्त्र चालन, शारीरिक प्रशिक्षण, आसूचना, मानचित्र अध्ययन, सैन्य प्रशासन, कानून व मानवाधिकार सहित सैन्य व पुलिस संबंधी विषयों, का गहन प्रशिक्षण दिया गया वहीं पहली बार क्रव मागा प्रशिक्षण पद्याति का भी प्रशिक्षण दिया गया।
इस मौके पर बतौर मुख्य अतिथि अपर महानिदेशक मनोज सिंह रावत ने सभी पास आउट होने वाले अधिकारियों को बधाई दी व कहा कि उनका बल में महत्वपूर्ण दायित्व है जिसमें बल के जवानों को शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ्य बनाये रखने के लिए प्रेरित करना है। उच्च हिमालयी क्षेत्रों में जवानों को होने वाली स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूक व उपचार करना है। उन्होंनेे कहा कि बल ने महिला सशक्ति करण के क्षेत्र में कई पहले की है और महिलाओं की भागीदारी अधिक से अधिक करने पर जोर दिया जा रहा है। यही कारण है कि बल की मुख्यधारा में शामिल होने वाले चिकित्साधिकारियों में 12 महिलाएं हैं तथा बल की हिमवीरांगनाएं अब सीमा चौकियों पर भी बड़ी सुस्तैदी से सुरक्षा कर्तब्यों का निर्वाह कर रही हैं। उन्होंने कहा कि बल में नारी सशक्तिकरण और महिलाओं के चिकित्सा तंत्र को और मजबूती प्रदान करेंगी। उन्होंने कहा कि बल का इतिहास गौरवशाली रहा है तथा उम्मीद है कि आगे भी बल की परंपराओं को आगे बढाते हुए नाम रोशन करेंगे। बल देश का सबसे प्रमुख बल है जहां उच्च स्तरीय प्रशिक्षण दिया जाता है जिसि कारण बल को दो बार सर्वश्रेष्ठ पुलिस प्रशिक्षण संस्थान माना गया व गृहमंत्री पुरस्कार दिया गया। अंत में डीआईजी अजय पाल सिंह ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस दौरान आईटीबीपी के ब्रास बैंड व पाइप बैड की धुनों ने दर्शकों का मनोरंजन किया। वहीं पीटी, कराते आदि के हैरत अंगेज कारनामे दिखा कर लोगों को दांतो तले उंगली दबाने को मजबूर किया।
इस मौके पर आईटीएम के निदेशक श्रीधर कटि, नगर पालिकाध्यक्ष अनुज गुप्ता, होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष संजय अग्रवाल, पूर्व आईजी बीएसएफ मनोरंजन त्रिपाठी सहित बल के अधिकारी व जवानों सहित नव सैन्य अधिकारियों के परिजन मौजूद रहे।
बल में शामिल 55 अधिकारियों में 16 राजस्थान, केरल के 7, पंजाब के 5, हरियाणा एवं आध्र प्रदेश के 4-4, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, एवं तेलंगना के 3 – 3, कर्नाटक से 2, मध्य प्रदेश, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, बिहार, उड़ीसा, आसाम त्रिपुरा व मणिपुर से 1 -1 अधिकारी थे। |
प्रशिक्षण के दौरान उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले चिकित्साधिकारियेां को मुख्यअतिथि ने सम्मानित किया जिसमें चिकित्साधिकारी चंद्रशेखर को बेस्ट इन इंडोर के साथ ही ऑल राउंड बेस्ट प्रशिक्षु व पुनीत भगत को बेस्ट आउटडोर प्रशिक्षु का पुरस्कार दिया गया। |
बल की मुख्यधारा में शामिल डॉ. सुरभि ने कहा कि बचपन से ही उन्हें देश सेवा का जुनून था,जिसे कड़ी मेहनत के बाद हासिल किया है।वहीं अभिभावक संदीप ग्रेवाल ने कहा कि उनका बेटा भी देश सेवा में शामिल हो चुका है और अब लडकी ने यह मुकाम हासिल किया है। जिससे गर्व महसूस हो रहा है। वहीं उत्तराखंड के डॉ. सौरव ने ने कहा कि इस मुकाम तक पहुचने में परिवार का बडा योगदान रहा है और अब वह देश सेवा के लिए तैयार है। |