होटल एसोसिएशन तथा स्थानीय लोगों ने किया धाम दर्शन के लिये मे सीमित पंजीयन का विरोध।

रिपोर्ट – विनय उनियाल

चमोली/जोशीमठ : आगामी दिनों में प्रस्तावित चार धाम यात्रा शुरू होने से पहले ही विरोध के स्वर तेज हो गए हैं। बद्रीनाथ धाम के मुख्य पड़ाव पांडुकेश्वर में व्यापारी तबके और होटल एसोसिएशन के लोगों ने विरोध शुरू कर दिया है।

शनिवार को पांडुकेश्वर में होटल एसोसिएशन और व्यापार सभा के लोगों ने हाथों में तख्तियां लेकर तीर्थ यात्रियों के दर्शनार्थ सीमित पंजीकरण व्यवस्था का विरोध किया।

व्यापारियों का कहना है कि बद्रीनाथ और अन्य तीन धामों की यात्रा पर आने वाले तीर्थ यात्रियों के पंजीकरण को सीमित न किया जाए बल्कि चारों धामों में यात्रियों को असीमित रूप से आने दिया जाए।

व्यापारियों ने रोजगार का हवाला देते हुए कहा कि धामों से जुड़ा व्यापारी तबका 6 महीने यात्रा चलने का इंतजार करता है। और यात्रा के दौरान यदि सरकार द्वारा इस प्रकार से यात्रा को प्रभावित करने का प्रयास किया जाएगा तो यह व्यापारी तबके को बर्दाश्त नहीं है।

बद्रीनाथ धाम के मुख्य पड़ाव पांडुकेश्वर होटल एसोसिएशन के कोषाध्यक्ष विपिन सिंह पवार का कहना है कि यदि शासन द्वारा इस प्रकार का रवैया अपनाया गया तो चार धाम यात्रा शुरू होने के साथ ही व्यापारी चारों धामों में अपने व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद कर धरना देंगे।

मंदिर समिति ने शासन को भेजा है प्रपोजल।

इस पर बदरीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के सीईओ योगेंद्र सिंह ने कहा कि बद्री केदार मंदिर समिति की ओर से उत्तराखंड शासन को प्रपोजल भेजा गया है।
प्रपोजल में स्पष्ट किया गया है कि बद्रीनाथ धाम में 16 से 18 हजार श्रद्धालु प्रतिदिन दर्शन सकते हैं। साथ ही केदारनाथ में 12 से 14 हजार श्रद्धालुओं के दर्शनो की व्यवस्था है। उन्होंने कहा कि स्थिति तब ही साफ हो सकेगी जब शासन से शासनादेश जारी हो जाएगा।

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