गढ़वाल आयुक्त ने ज्योर्तिमठ मूल निवासी स्वाभिमान संगठन एवं ज्योर्तिमठ बचाओ संघर्ष समिति के पदाधिकारियों के साथ बैठक की।

चमोली : गढवाल आयुक्त विनय शंकर पाण्डेय और आपदा प्रबंधन सचिव विनोद कुमार सुमन ने मंगलवार को ज्योर्तिमठ पहुंचकर ज्योर्तिमठ मूल निवासी स्वाभिमान संगठन एवं ज्योर्तिमठ बचाओ संघर्ष समिति के पदाधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने आश्वस्त किया कि नगर की समस्याओं का जल्द निराकरण किया जाएगा।

गढ़वाल आयुक्त ने कहा कि ज्योर्तिमठ को सुरक्षित बनाने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है और इस दिशा में पूरी निष्ठा के साथ कार्य कर रही है। ज्योर्तिमठ में आपदा पुनर्वास कार्यालय स्थापित करने की मांग पर गढ़वाल आयुक्त ने कहा कि एक सप्ताह के भीतर आपदा पुनर्वास कार्यालय स्थापित किया जाएगा। उन्होंने मौके पर ही आपदा पुनर्वास कार्यालय में एक तहसीलदार, एक रजिस्ट्रार कानूनगो तथा 2 अभियंताओं की तैनाती करने के आदेश दिए।

गढ़वाल आयुक्त ने कहा कि ज्योर्तिमठ सीवरेज, ड्रेनेज, नाली सुधारीकरण और प्रोटेक्शन कार्यों के लिए डीपीआर बनाने का काम लगभग पूरा हो गया है। और आईआईटी रुड़की से परीक्षण करने के बाद डीपीआर इसी महीने भारत सरकार को भेजी जाएगी। विष्णु प्रयाग में अलकनंदा और धौलीगंगा के तटों पर टो-प्रोटेक्शन के लिए डीपीआर तैयार की जा रही है। उन्होंने कहा कि आपदा प्रभावितों के विस्थापन के लिए बमोथ, गौचर भूमि चिन्हित की गई थी लेकिन विस्थापितों द्वारा वहां विस्थापित होने को लेकर असहमति जताई गई। उन्होंने कहा कि जो लोग ज्योर्तिमठ में सुरक्षित स्थानों पर अपनी भूमि पर मकान बनाना चाहते हैं उस पर कोई आपत्ति नहीं है।

उन्होंने कहा कि ज्योर्तिमठ के आस पास ही प्रभावितों के विस्थापन के लिए सुरक्षित भूमि तलाशी जा रही है। उन्होंने एसडीएम ज्योर्तिमठ को निर्देश दिए कि औली के पास फल संरक्षण की 500 नाली भूमि का भूगर्भीय सर्वेक्षण कराके प्रभावितों के विस्थापन की योजना की तैयारी की जाए। और सुरक्षित स्थान पर भूमि चयनित करें और उसका प्रस्ताव दें।

आपदा सचिव ने कहा कि मानव जीवन की सुरक्षा सरकार के लिए सर्वोपरि है। ज्योर्तिमठ को शत प्रतिशत सुरक्षित बनाने के लिए पुनर्निर्माण कार्यों की डीपीआर तैयार हो चुकी है। सीवरेज, ड्रेनेज तथा नाली निर्माण कार्य पूरे होने पर ज्योर्तिमठ पूर्णतया सुरक्षित बनाया जाएगा।

जिलाधिकारी संदीप तिवारी ने बताया कि मूल निवास स्वाभिमान संगठन द्वारा रखी गई समस्या के निराकरण हेतु रविग्राम में एसटीपी का कार्य शुरू कर दिया गया है। लिकेज, सीवरेज और पेयजल ट्रीटमेंट के लिए धनराशि स्वीकृत कर दी गई है। विष्णु प्रयाग से ऐरा पुल तक अलकनंदा और धौलीगंगा के किनारे सुरक्षा कार्य की डीपीआर तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं,

Spread the love

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *